भारतीय संविदा अधिनियम की धारा 139 | Indian Contract Act Section 139

भारतीय संविदा अधिनियम Indian Contract Act (ICA Section-139) in Hindi के विषय में पूर्ण जानकारी देंगे। भारतीय संविदा अधिनियम की धारा 139 के अनुसार यदि लेनदार कोई ऐसा कार्य करे जो प्रतिभू के अधिकारों से असंगत हो या किसी ऐसे कार्य को करने का लोप करे जिसके किए जाने की प्रतिभू के प्रति उसका कर्तव्य अपेक्षा करता हो और मूलऋणी के विरुद्ध प्रतिभू के अपने पारिणामिक उपचार का तद्द्वारा ह्रास हो तो प्रतिभू उन्मोचित हो जाएगा, जिसे IC Act Section-139 के अन्तर्गत परिभाषित किया गया है।

भारतीय संविदा अधिनियम की धारा 139 (Indian Contract Act Section-139) का विवरण

भारतीय संविदा अधिनियम की धारा 139 IC Act Section-139 के अनुसार यदि लेनदार कोई ऐसा कार्य करे जो प्रतिभू के अधिकारों से असंगत हो या किसी ऐसे कार्य को करने का लोप करे जिसके किए जाने की प्रतिभू के प्रति उसका कर्तव्य अपेक्षा करता हो और मूलऋणी के विरुद्ध प्रतिभू के अपने पारिणामिक उपचार का तद्द्वारा ह्रास हो तो प्रतिभू उन्मोचित हो जाएगा।

भारतीय संविदा अधिनियम की धारा 139 (IC Act Section-139 in Hindi)

लेनदार के ऐसे कार्य या लोप से, जिसे प्रतिभू के पारिणामिक उपचार का ह्रास होता है, प्रतिभू का उन्मोचन-

यदि लेनदार कोई ऐसा कार्य करे जो प्रतिभू के अधिकारों से असंगत हो या किसी ऐसे कार्य को करने का लोप करे जिसके किए जाने की प्रतिभू के प्रति उसका कर्तव्य अपेक्षा करता हो और मूलऋणी के विरुद्ध प्रतिभू के अपने पारिणामिक उपचार का तद्द्वारा ह्रास हो तो प्रतिभू उन्मोचित हो जाएगा।
दृष्टांत
(क) ग के लिए ख निश्चित धनराशि के बदले एक पोत निर्माण करने की संविदा करता है, जो धनराशि, काम के जैसे-जैसे अमुक प्रक्रमों तक पहुंचे, वैसे-वैसे किस्तों में दी जानी है। ख द्वारा संविदा के सम्यक् पालन के लिए ग के प्रति क प्रतिभू हो जाता है। क के ज्ञान के बिना ख को अन्तिम दो किस्तों का पूर्व संदाय ग कर देता है । इस पूर्व संदाय के कारण क उन्मोचित हो जाता है।
(ख) ख के फर्नीचर के ऐसे विक्रयाधिकार-पत्र के साथ, जो ग को यह शक्ति देता है कि वह फर्नीचर बेच दे और उसके आगमों को वचनपत्र के उन्मोचन में उपयोजित कर ले । ग के पक्ष में ख द्वारा और ख के प्रतिभू के रूप में क द्वारा लिखे गए संयुक्त एवं पृथक् वचनपत्र की प्रतिभूति पर ख को ग धन उधार देता है । तत्पश्चात् ग उस फर्नीचर को बेच देता है, किन्तु उस उपचार और उसके द्वारा जानबूझकर की गई उपेक्षा के कारण केवल थोड़ी कीमत प्राप्त होती है। क उस वचनपत्र के दायित्व से उन्मोचित हो जाता है।
(ग) ड को ख के पास शिक्षु के रूप में क रखता है और ख कोड की विश्वस्तता की प्रत्याभूति देता है। ख अपनी ओर से वचन देता है कि वह प्रति मास कम से कम एक बार देख लेगा कि ड ने रोकड़ का मिलान कर लिया है। ख ऐसा करने का लोप करता है और ड गबन कर लेता है। ख के प्रति क अपनी प्रत्याभूति पर दायी नहीं है।

Indian Contract Act Section-139 (IC Act Section-139 in English)

Discharge of surety by creditor’s act or omission impairing surety’s eventual remedy-

If the creditor does any act which is inconsistent with the rights of the surety, or omits to do any act which his duty to the surety requires him to do, and the eventual remedy of the surety himself against the principal debtor is thereby impaired, the surety is discharged.
Illustrations
(a) B contracts to build a ship for C for a given sum, to be paid by instalments as the work reaches certain stages. A becomes surety to C for B‟s due performance of the contract. C, without the knowledge of A, prepays to B the last two instalments. A is discharged by this prepayment.
(b) C lends money to B on the security of a joint and several promissory note made in C‟s favour by B, and by A as surety for B, together with a bill of sale of B‟s furniture, which gives power to C to sell the furniture, and apply the proceeds in discharge of the note. Subsequently, C sells the furniture, but, owing to his misconduct and wilful negligence, only a small price is realized. A is discharged from liability on the note.
(c) A puts M as apprentice to B, and gives a guarantee to B for M‟s fidelity. B promises on his part that he will, at least once a month, see M make up the cash. B omits to see this done as promised, and M embezzles. A is not liable to B on his guarantee.

हमारा प्रयास भारतीय संविदा अधिनियम (Indian Contract Act Section) की धारा 139 की पूर्ण जानकारी, आप तक प्रदान करने का है, उम्मीद है कि उपरोक्त लेख से आपको संतुष्ट जानकारी प्राप्त हुई होगी, फिर भी अगर आपके मन में कोई सवाल हो, तो आप कॉमेंट बॉक्स में कॉमेंट करके पूछ सकते है।

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