किशोर न्याय अधिनियम JJ Act (Juvenile Justice Act Section-40) in Hindi के विषय में पूर्ण जानकारी देंगे। किशोर न्याय अधिनियम की धारा 40 के अनुसार किसी समिति को, देखरेख और संरक्षण के जरूरतमंद किसी बालक को, यथास्थिति, उसके माता-पिता, संरक्षक या योग्य व्यक्ति को उस बालक की देखरेख करने की उपयुक्तता अवधारित करने के पश्चात्, उसके माता-पिता, संरक्षक या योग्य व्यक्ति को प्रत्यावर्तित करने की और उन्हें यथोचि निर्देश देने की शक्ति होगी, जिसे JJ Act Section-40 के अन्तर्गत परिभाषित किया गया है।
HIGHLIGHTS
किशोर न्याय अधिनियम की धारा 40 (Juvenile Justice Act Section-40) का विवरण
किशोर न्याय अधिनियम की धारा 40 JJ Act Section-40 के तहत किशोर न्याय बोर्ड (जेजेबी) समिति को, देखरेख और संरक्षण के जरूरतमंद किसी बालक को, यथास्थिति, उसके माता-पिता, संरक्षक या योग्य व्यक्ति को उस बालक की देखरेख करने की उपयुक्तता अवधारित करने के पश्चात्, उसके माता-पिता, संरक्षक या योग्य व्यक्ति को प्रत्यावर्तित करने की और उन्हें यथोचि निर्देश देने की शक्ति होगी।
किशोर न्याय अधिनियम की धारा 40 (JJ Act Section-40 in Hindi)
देखरेख और संरक्षण के जरूरतमंद बालक का प्रत्यावर्तन–
(1) किसी बालक का प्रत्यावर्तन और संरक्षण, किसी भी बाल-गृह, विशिष्ट दत्तकग्रहण अभिकरण या खुले आश्रय का प्राथमिक उद्देश्य होगा ।
(2) यथास्थिति, बाल-गृह, विशिष्ट दत्तकग्रहण अभिकरण या खुला आश्रय ऐसे उपाय करेगा जो किसी कौटुंबिक वातावरण से वंचित बाजोलक की, जहां ऐसा बालक अस्थायी रूप से या स्थायी रूप से उनकी देखरेख और संरक्षण में है, प्रत्यावर्तन और संरक्षण के लिए आवश्यक समझे जाएं ।
(3) समिति को, देखरेख और संरक्षण के जरूरतमंद किसी बालक को, यथास्थिति, उसके माता-पिता, संरक्षक या योग्य व्यक्ति को उस बालक की देखरेख करने की उपयुक्तता अवधारित करने के पश्चात्, उसके माता-पिता, संरक्षक या योग्य व्यक्ति को प्रत्यावर्तित करने की और उन्हें यथोचि निर्देश देने की शक्ति होगी ।
स्पष्टीकरण– इस धारा के प्रयोजनों के लिए, “किसी बालक का प्रत्यावर्तन और संरक्षण” से
(क) माता-पिता;
(ख) दत्तक माता-पिता;
(ग) पोषक माता-पिता;
(घ) संरक्षक; या
(ङ) योग्य व्यक्ति,
को प्रत्यावर्तन अभिप्रेत है ।
(4) समिति राज्य सरकार और जिला मजिस्ट्रेट को ऐसी रीति में जो विहित की जाए प्रत्यावर्तन, मृत्यु और भाग जाने के संबंध में तिमाही रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी ।
Juvenile Justice Act Section-40 (JJ Act Section-40 in English)
Restoration of child in need of care and protection–
(1) The restoration and protection of a child shall be the prime objective of any Children’s Home, Specialised Adoption Agency or open shelter.
(2) The Childrens Home, Specialised Adoption Agency or an open shelter, as the case may be, shall take such steps as are considered necessary for the restoration and protection of a child deprived of his family environment temporarily or permanently where such child is under their care and protection.
(3) The Committee shall have the powers to restore any child in need of care and protection to his parents, guardian or fit person, as the case may be, after determining the suitability of the parents or guardian or fit person to take care of the child, and give them suitable directions.
Explanation.For the purposes of this section, restoration and protection of a child means restoration to
(a) parents;
(b) adoptive parents;
(c) foster parents;
(d) guardian; or
(e) fit person.
(4) The Committee shall submit a quarterly report regarding restored, dead and runaway children to the State Government and the District Magistrate in such form as may be prescribed.
हमारा प्रयास किशोर न्याय अधिनियम (Juvenile Justice Act Section) की धारा 40 की पूर्ण जानकारी, आप तक प्रदान करने का है, उम्मीद है कि उपरोक्त लेख से आपको संतुष्ट जानकारी प्राप्त हुई होगी, फिर भी अगर आपके मन में कोई सवाल हो, तो आप कॉमेंट बॉक्स में कॉमेंट करके पूछ सकते है।