नमस्कार दोस्तों, आज हम आपके लिए दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 290 के बारे में पूर्ण जानकारी देंगे। क्या कहती है दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 290 कब लागू होती है, यह भी इस लेख के माध्यम से आप तक पहुंचाने का प्रयास करेंगे।
धारा 290 का विवरण
दण्ड प्रक्रिया संहिता (CrPC) की धारा 290 के अन्तर्गत धारा 286 के उपबन्ध और धारा 287 और धारा 288 के उतने भाग के उपबन्ध, जितना कमीशन का निष्पादन किए जाने और उसके लौटाए जाने से संबंधित है, इसमें इसके पश्चात् वर्णित किन्हीं न्यायालयों, न्यायाधीशों या मजिस्ट्रेट द्वारा जारी किए गए कमीशनों के बारे में वैसे ही लागू होंगे जैसे वे धारा 284 के अधीन जारी किए गए कमीशनों को लागू होते हैं।
सीआरपीसी की धारा 290 के अनुसार
विदेशी कमीशनों का निष्पादन–
(1) धारा 286 के उपबन्ध और धारा 287 और धारा 288 के उतने भाग के उपबन्ध, जितना कमीशन का निष्पादन किए जाने और उसके लौटाए जाने से संबंधित है, इसमें इसके पश्चात् वर्णित किन्हीं न्यायालयों, न्यायाधीशों या मजिस्ट्रेट द्वारा जारी किए गए कमीशनों के बारे में वैसे ही लागू होंगे जैसे वे धारा 284 के अधीन जारी किए गए कमीशनों को लागू होते हैं।
(2) उपधारा (1) में निर्दिष्ट न्यायालय, न्यायाधीश और मजिस्ट्रेट निम्नलिखित हैं-
(क) भारत के ऐसे क्षेत्र के अन्दर, जिस पर इस संहिता का विस्तार नहीं है, अधिकारिता का प्रयोग करने वाला ऐसा न्यायालय, न्यायाधीश या मजिस्ट्रेट जिसे केन्द्रीय सरकार, अधिसूचना द्वारा, इस निमित्त विनिर्दिष्ट करे;
(ख) भारत से बाहर के किसी ऐसे देश या स्थान में, जिसे केन्द्रीय सरकार, अधिसूचना द्वारा, इस निमित्त विनिर्दिष्ट करे, अधिकारिता का प्रयोग करने वाला और उस देश या स्थान में प्रवृत्त विधि के अधीन आपराधिक मामलों के सम्बन्ध में साक्षियों की परीक्षा के लिए कमीशन जारी करने का प्राधिकार रखने वाला न्यायालय, न्यायाधीश या मजिस्ट्रेट।
Execution of foreign commissions-
(1) The provisions of Section 286 and so much of Section 287 and Section 288 as relate to the execution of a commission and its return shall apply in respect of commissions issued by any of the Courts, Judges or Magistrates hereinafter mentioned as they apply to commissions issued under Section 284.
(2) The Courts, Judges and Magistrates referred to in sub-section (1) are-
(a) any such Court, Judge or Magistrate exercising jurisdiction within an area in India to which this Code does not extend, as the Central Government may by notification, specify in this behalf;
(b) any Court, Judge or Magistrate exercising jurisdiction in any such country or place outside India, as the Central Government may, by notification, specify in this behalf, and having authority, under the law in force in that country or place, to issue commissions for the examination of witnesses in relation to criminal matters.
हमारा प्रयास सीआरपीसी की धारा 290 की पूर्ण जानकारी, आप तक प्रदान करने का है, उम्मीद है कि उपरोक्त लेख से आपको संतुष्ट जानकारी प्राप्त हुई होगी, फिर भी अगर आपके मन में कोई सवाल हो, तो आप कॉमेंट बॉक्स में कॉमेंट करके पूछ सकते है।